रांची। वीरता और स्वाभिमान के प्रतीक महाराणा प्रताप सिंह की 484वीं जयंती धुर्वा गोलचक्कर सेक्टर 2 में मनाई गयी।
झारखंड क्षत्रिय महापंचायत द्वारा आयोजित कार्यक्रम में लोगों ने माल्यार्पण कर महाराणा प्रताप को श्रद्धा सुमन अर्पित किये।
कार्यक्रम में द्वीप प्रज्वलन डॉक्टर पीएन सिंह, आरएन सिंह, रेणुका सिंह, शिवाजी सिंह, बीरेंद्र सिंह, शैलेश्वर दयाल सिंह के द्वारा किया गया।
फिर राष्ट्रगान से कार्यक्रम का प्रारंभ हुआ। कार्यक्रम में उपस्थित क्षत्रिय समाज के लोगों द्वारा माल्यार्पण एवं पुष्प अर्पित किया गया।
कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर धीरज सूर्यवंशी द्वारा किया गया। उपस्थित वक्ताओं द्वारा स्वस्थ्य, समर्थ और सांस्कारिक भारत के लिए महाराणा प्रताप के दृढ़ निश्चय, त्याग और आत्म सम्मान का उदाहरण दिया गया।
कार्यक्रम में संजय सिंह ने कहा कि महाराणा प्रताप का जीवन संघर्षों से भरा था। फिर भी उन्होंने अपनी इच्छा शक्ति से संकल्पित करने के लिए लोगों को प्रेरित किया।
मनीष सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि भविष्य में हम सभी मिलकर एक अच्छे और सशक्त समाज के कल्याण हेतु क्षत्रिय समाज को आगे लायेंगे।
उनके बलिदान को बेकार नहीं जाने देंगे। कार्यक्रम में महाप्रसाद रामेश्वर दयाल सिंह ने कहा कि महाराणा प्रताप के जैसा योद्धा पूरे विश्व में मिलना मुश्किल है।
इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से दिलीप सिंह, विकास सिंह, मुन्ना सिंह, पुरषोत्तम राठौड़, सुलेखा सिंह, राजा सिंह, अनुरंजीता सिंह, मुकेश कुमार सिंह, राकेश सिंह, यश प्रताप सिंह, इंद्रजीत सिंह, धर्मेंद्र सिंह, संतोष सिंह के अलावा अन्य लोग भी मौजूद थे। काली प्रसाद सिंह ने धन्यवाद ज्ञापन दिया।
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