अडाणी-मणिपुर-अंबेडकर मुद्दे पर हंगामा हुआ
नई दिल्ली, एजेंसियां। 18वीं लोकसभा का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को समाप्त हो गया। यह सत्र 25 नवंबर से शुरू हुआ था। पूरे सत्र में कुल 20 बैठकें हुईं। दोनों सदन (लोकसभा और राज्यसभा) में लगभग 105 घंटे कार्यवाही चली।
एक देश-एक चुनाव का बिल पेशः
सत्र के दौरान लोकसभा की प्रोडक्टिविटी 54%, राज्यसभा में 41% रही। सदन में कुल चार बिल पेश किए गए। हालांकि कोई पारित नहीं हो सका। सबसे चर्चित एक देश, एक चुनाव के लिए पेश हुआ 129 वें संविधान (संशोधन) बिल रहा।
इस बिल को समीक्षा के लिए 31 सदस्यीय जॉइंट पार्लियामेंट्री कमेटी (JPC) के पास भेजा गया। कमेटी में लोकसभा से 21 और राज्यसभा से 10 सांसदों को चुना गया है। कांग्रेस की तरफ से प्रियंका गांधी वाड्रा, मनीष तिवारी को शामिल किया गया है। भाजपा की तरफ से बांसुरी स्वराज, संबित पात्रा और अनुराग सिंह ठाकुर समेत 10 सांसद हैं।
धक्का मुक्की इस सत्र का काला अध्यायः
सत्र की शुरुआत अडाणी मुद्दे पर हंगामे से हुई। फिर विपक्षी सांसदों ने मणिपुर और किसानों का मुद्दा भी उठाया। सत्र खत्म होते-होते अंबेडकर मुद्दे पर जमकर हंगामा हुआ। 19 दिसंबर को तो बात धक्का-मुक्की पर आ गई। दो बीजेपी सांसद घायल हो गए। राहुल पर आरोप लगा। उनके खिलाफ FIR हो गई।
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