Monday, July 7, 2025

NDA और I.N.D.I.A. दोनों उलझे एक ही पेंच में [NDA and I.N.D.I.A. both entangled in the same problem]

रांची। झारखंड में चुनावी सरगर्मी अब साफ-साफ दिखने लगी है। विधानसभा का मानसून सत्र खत्म होते ही एनडीए और इंडी गठबंधन दोनों ही पूरी तरह चुनावी मोड में दिखने लगेंगे।

फिलहाल विधानसभा को में भी चुनावी तपिश साफ-साफ महसूस हो रही है। एनडीए जहां एक ओर बांग्लादेशी घुसपैठ को मुद्दा बनाकर सरकार को घेरने की कोशिश में जुटा है, तो वही इंडी गठबंधन अपने काम और सरकारी योजनाओं के सहारे चुनाव में उतरने की रणनीति बनाने में जुटा है।

इस क्रम में झामुमो और कांग्रेस के कुछ विधायक तथा नेता बाहरी-भीतरी के मुद्दे को भी हवा दे रहे हैं। खैर ये तो मुद्दे हैं, जो चुनाव को लेकर हावी होते दिख रहे हैं।

इन सबके बीच पक्ष और विपक्ष दोनों ही गठबंधन एक पेंच में उलझे हैं और वह है सीटों का बंटवारा। एनडीए और सत्तधारी ‘इंडी’ गठबंधन में सीटों के बंटवारे की कवायद तेज हो गई है।

सीट बंटवारे पर दोनों खेमों में खींचतान दिख रही है। इंडी ब्लॉक की बात करें तो जेएमएम 2019 के मुकाबले इस बार अधिक सीटों पर लड़ना चाहता है तो कांग्रेस और आरजेडी को भी इस बार अधिक सीटें चाहिए।

इंडी ब्लॉक में शामिल तीसरी नई पार्टी सीपीआई (एमएल) भी पिछली बार से कम सीटों पर चुनाव लड़ने को राजी नहीं है।

वहीं, एनडीए में भाजपा बड़ी पार्टी होने के कारण अपना वर्चस्व बनाए रखना चाहती है। तो आजसू पिछली बार लड़ी गई सीटों का हवाला देकर जीती गईं सीटों से ज्यादा की जिद पर अड़ा है।

इसे लेकर आजसू प्रमुख सुदेश महतो दिल्ली में ही कैंप कर रहे हैं। NDA के रणनीतिकारों को यह भी तय करना है कि चुनाव लड़ने की तैयारी में लगे जेडीयू को बिहार की तरह झारखंड में भी भाजपा का पार्टनर रहना है या नहीं।

‘इंडी’ गठबंधन – पिछली बार कौन कितनी सीटों पर लड़ा

साल 2019 में हुए झारखंड विधानसभा चुनाव में अब ‘इंडी’ बन चुके महागठबंधन में तीन दल ही थे। माले तब साथ नहीं था। जेएमएम ने 41 सीटों पर चुनाव लड़ा था।

उसे 30 सीटों पर जीत मिली, जो 2014 की जीतीं 19 सीटों से 11 अधिक थीं। कांग्रेस 31 सीटों पर लड़ कर 16 जीत गई थी।

आरजेडी ने सात सीटों पर उम्मीदवार उतारे, लेकिन कामयाबी सिर्फ एक सीट पर मिली थी। सीपीआई (एमएल) ने 14 पर चुनाव लड़ा, लेकिन जीती सिर्फ एक सीट।

इंडिया ब्लॉक में किस पार्टी को चाहिए कितनी सीटे

इंडी ब्लॉक की पार्टियों में कांग्रेस इस बार पिछली बार से दो अधिक यानी 33 सीटों की मांग कर रही है। कांग्रेस का तर्क है कि पिछली बार वह 31 सीटों पर लड़ी थी।

पिछली बार बाबूलाल मरांडी के नेतृत्व वाले जेवीएम के टिकट पर जीते दो विधायक पार्टी खत्म हो जाने के बाद अब उसके साथ हैं। इसलिए उसे 33 सीटों से कम नहीं चाहिए। जेएमएम भी पिछली बार लड़ी गईं 41 की जगह इस बार 47 सीटों पर लड़ना चाहता है।

आरजेडी की दावेदारी अभी तक सामने नहीं आई है, लेकिन अनुमान है कि वह भी पिछली बार की सात सीटों से कम पर नहीं मानेगा।

सीपीआई (एमएल) ने भी अभी दावा नहीं किया है, पर उसके भी दो-तीन सीटों पर दावे का अनुमान है।

झारखंड विधानसभा में कुल 81 सीटें हैं और सिर्फ दो दलों जेएमएम और कांग्रेस का ही दावा ही 80 सीटों पर है। आरजेडी और माले बाकी हैं। ऐसे में सीट शेयरिंग में किचकिच होनी पक्की है।

एनडीए में भी फंस रहा पेंच

अब बात करते हैं एनडीए की। एनडीए में फिलवक्त दो ही दल हैं- भाजपा और आजसू। आजसू ने 2019 का लोकसभा चुनाव साथ लड़ा था, लेकिन विधानसभा चुनाव में सीटों पर बात नहीं बन सकी थी।

सीट शेयरिंग से असंतुष्ट होकर विधानसभा चुनाव आजसू ने अलग लड़ा। भाजपा ने 79 सीटों पर उम्मीदवार उतारे, लेकिन 2014 के मुकाबले 12 सीटों के नुकसान के साथ उसे 25 सीटों पर ही कामयाबी मिली।

आजसू 53 सीटों पर लड़ कर सिर्फ दो सीटें ही जीत पाई। भाजपा पिछली बार से कम सीटों पर लड़ने को तैयार नहीं तो आजसू भी 10 से कम पर मानने को राजी नहीं है।

अगर जेडीयू को भी बिहार की तरह झारखंड में एनडीए का साझीदार बनाया गया तो उसे भी सीटें देनी पड़ेंगी।

जेवीएम के भाजपा में विलय के बाद उसकी सीटें भाजपा छोड़ सकती है। इसे देखते हुए साफ है कि एनडीए में भी सीटों के बंटवारे को लेकर किचकिच तय है।

सीट बंटवारे को लेकर नेताओं की दिल्ली दौड़ आरंभ

हाल ही एनडीए के घटक आजसू प्रमुख सुदेश महतो ने भाजपा नेताओं के दिल्ली दरबार में हाजिरी लगाई। कांग्रेस ने भी अपने प्रभारी और प्रदेश स्तरीय नेताओं को दिल्ली तलब किया था।

सबने अपनी दावेदारी तर्कों के साथ पेश कर दी है। सीट बंटवारे पर अभी तक कोई अंतिम निर्णय नहीं हुआ है।

भाजपा अगस्त में अपने अधिकतर उम्मीदवारों के नाम घोषित करने की तैयारी में लगी है। कौन कहां से लड़ेगा, यह भी कम पेचीदा काम नहीं है। यह पेंच भी दोनों गठबंधनों को सुलझाना है।

इसे भी पढ़ें

जयराम महतो को किसने दिया ललचाने वाला ऑफर

Hot this week

Bariatu Housing Colony: बरियातू हाउसिंग कॉलोनी में मनचलों और नशेड़ियों से सब परेशान, एक धराया [Everyone is troubled by hooligans and drunkards in Bariatu...

Bariatu Housing Colony: रांची। बरियातू हाउसिंग कॉलोनी एवं यूनिवर्सिटी कॉलोनी...

झारखंड विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण की अधिसूचना जारी [Notification issued for the second phase of Jharkhand assembly elections]

आज से नामांकन, 38 सीटों पर होगा मतदान रांची। झारखंड...

मुंबई: MNS नेता के बेटे पर नशे में गाड़ी चलाने और अभद्रता का आरोप, FIR दर्ज [Mumbai: FIR lodged against MNS leader’s son for...

Drunk driving : मुंबई, एजेंसियां। मुंबई में महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना...

HEC कर्मचारियों का धैर्य टूटा, वेतन के लिए 9 जुलाई को हड़ताल तय [HEC employees’ patience breaks, strike scheduled for July 9 for salary]

HEC employees: रांची। रांची स्थित हेवी इंजीनियरिंग कॉरपोरेशन (HEC) के...

Kailash-Mansarovar Yatra: पांच साल बाद फिर शुरू हो गई कैलास-मानसरोवर यात्रा [Kailash-Mansarovar Yatra started again after five years]

Kailash-Mansarovar Yatra: नई दिल्ली, एजेंसियां। पांच साल बाद कैलास-मानसरोवर...
spot_img

Related Articles

Popular Categories

spot_imgspot_img