प्रयागराज, एजेंसियां। ‘रेप के आरोपी को इस शर्त पर जमानत दी जाती है कि वह जेल से रिहा होने के बाद किशोरी से शादी करेगा। उसे अच्छा जीवन देगा। उसके नवजात बच्चे का भरण-पोषण करेगा।’
यह आदेश इलाहाबाद हाईकोर्ट जस्टिस कृष्ण पहल की बेंच ने पॉस्को एक्ट में दर्ज केस में दिया है। यह केस सहारनपुर में दर्ज हुआ था। रेप पीड़ित छात्रा ने आरोप लगाया था कि धोखा देकर और शादी का झूठा वादा करके उसके साथ शारीरिक संबंध बनाए गए।
पिता का दावा-उसकी बेटी नाबालिगः
लड़की के पिता ने कहा था कि मेरी बेटी 15 साल की है। आरोपी के शारीरिक संबंध बनाने की वजह से बेटी प्रेग्नेंट हो गई। इसके बाद हमने लड़के के परिवार से संपर्क किया, लेकिन उन्होंने शादी से इनकार कर दिया।
अब लड़की घर में ही रहती है। उनके परिवार ने धमकी भी दी है। पिता की शिकायत पर आरोपी के खिलाफ पॉस्को एक्ट के तहत केस दर्ज हुआ।
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