रांची। हेमंत सोरेन ने कहा कि झारखंड में कोई भी हिंदू खतरे में नहीं है। लेकिन विपक्षी पार्टी सिर्फ अपने हिंदू-मुस्लिम विमर्श के जरिए यहां तनाव पैदा करने की कोशिश कर रही है।
झारखंड में पहले चरण का चुनाव 13 नवंबर को होगा। इसके मद्देनजर सियासी दलों के नेताओं के बीच वार-पलटवार जारी है। इस बीच, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मंगलवार को कहा कि यह राज्य आदिवासियों का है और वे ही इस पर शासन करेंगे।
झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के कार्यकारी अध्यक्ष हेमंत सोरेन ने बीजेपी की आलोचना करते हुए दावा किया कि राज्य में कोई भी हिंदू खतरे में नहीं है, लेकिन विपक्षी पार्टी सिर्फ अपने हिंदू-मुस्लिम विमर्श के जरिए यहां तनाव पैदा करने की कोशिश कर रही है।
झारखंड में कितने प्रतिशत आदिवासी हैं?
सोरेन ने पश्चिमी सिंहभूम जिले के छोटानागरा में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “हमने झारखंड को अलग राज्य बनाने के लिए लड़ाई लड़ी और हम अपने अधिकारों को सुरक्षित करने के लिए भी लड़ेंगे। झारखंड आदिवासियों का है, इसलिए यहां आदिवासी ही राज करेंगे।”
साल 2011 की जनगणना के अनुसार, झारखंड की कुल जनसंख्या 32,988,134 है। इनमें से 26.21 प्रतिशत (8,645,042) आदिवासी हैं। रघुबर दास को छोड़कर, 2000 में बने राज्य के सभी मुख्यमंत्री आदिवासी समुदाय से थे।
सोरेन ने कहा कि उनकी सरकार ने जनता के सहयोग से अच्छा काम किया है और भविष्य में भी ऐसा ही करती रहेगी।
मुख्यमंत्री ने दावा किया, “सीबीआई और ईडी के साथ मिलकर बीजेपी मुझे डरा रही है और झूठे आरोपों के लिए मुझे जेल भी भेजा, लेकिन मैं झारखंड की धरती का बेटा हूं। मैं न तो डरता हूं और न ही कभी झुकता हूं।”
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