Central Parliamentary Committee:
रांची। HEC के पुनरुद्धार के लिए दिल्ली में केंद्रीय संसदीय समिति की बैठक हुई। इसमें पहली बार HEC मजदूर यूनियन के प्रतिनिधियों को बुलाया गया था। बैठक में कहा गया कि आर्थिक मदद देकर इसका पुनरुद्धार किया जाएगा। बैठक में HEC के मशीनों के आधुनिकीकरण और कामगारों को नियमित वेतन देने पर चर्चा हुई।
प्रबंधन के मुताबिक बैठक में HEC के पुनरुद्धार के लिए नेटवर्थ और बैंक लोन पर बात हुई। इसके लिए सोवरेन गारंटी पर शीघ्र विचार किया जाएगा। समिति ने HEC के ब्याज का बोझ कम करने पर भी जोर दिया।
Central Parliamentary Committee:वर्क ऑर्डर मिलेगा, जमीन दी जायेगी लीज परः
बैठक में कहा गया कि HEC के पास जो जमीन है, उसे राज्य सरकार को देकर फंड जुटाया जाएगा। बैठक में मौजूद इस्पात, कोयला और खान मंत्रालय, डीआरडीओ और इसरो के प्रतिनिधियों से एचईसी को वर्क ऑर्डर देकर मदद करने की अपील की गई, जिस पर उन्होंने हामी भरी।
Central Parliamentary Committee:बैठक में ये रहे शामिलः
राज्यसभा सांसद तिरुचि शिवा की अध्यक्षता में हुई बैठक में HEC के सभी डायरेक्टर, सीएमडी, 10 से ज्यादा सांसद, भारी उद्योग मंत्रालय के प्रधान सचिव कामरान रिजवी और संयुक्त सचिव विजय मित्तल शामिल थे। बैठक में एचईसी प्रभारी सीएमडी केएस मूर्ति, निदेशक विपणन आलोक सिंघल, निदेशक उत्पादन बीएस गर्ग, निदेशक कार्मिक मनोज कुमार लकड़ा, निदेशक वित्त मुकेश कुमार के अलावा एचईसी मजदूर यूनियनों के प्रतिनिधि रमाशंकर प्रसाद, प्रकाश कुमार, एसजे मुखर्जी, आर के शाही, पूर्णेन्दु मिश्रा, सनि सिंह, विमल महली, हरेंद्र प्रसाद व दिलीप सिंह मौजूद थे।
Central Parliamentary Committee:3 बार हो चुका पुनरुद्धारः
HEC का पहले तीन बार पुनरुद्धार हो चुका है। लेकिन, यह एक बार फिर संकट में आ गया है। इस समय एचईसी की देनदारी 2000 करोड़ रुपए से ज्यादा है। ये पीएफ, बिजली, बीमा, ईएसआई और रॉ मैटीरियल आदि के हैं। बैंक लोन 288 करोड़ रुपए का है। इस पर तीन करोड़ रुपए का ब्याज देना पड़ता है। HEC कर्मचारियों का भी 25 महीने का वेतन बकाया है।
Central Parliamentary Committee:HEC टाउनशिप की दुकानों से वसूला जायेगा किरायाः
इधर, संसदीय समिति की बैठक से पहले सीएमडी ने यूनियन प्रतिनिधियों के साथ भी बैठक की थी। इसमें तय हुआ था कि 50 सुरक्षाकर्मियों की भर्ती कर एचईसी टाउनशिप की दुकानों से किराया वसूला जाएगा। अवैध निर्माण को रोका जाएगा।
Central Parliamentary Committee:बैठक में इन पर भी हुई चर्चाः
कर्मचारियों का वेतन नियमित किया जाएगा।
सरकार को लीज पर जमीन देकर पैसे जुटाए जाएंगे। बैंक गारंटी ली जाएगी।
भेल वर्क आर्डर और रॉ-मैटिरियल देगा।
कोयला, खनन, रक्षा मंत्रालय और इसरो से वर्क ऑर्डर मिलेगा।
संसदीय समिति जल्दी ही एचईसी का दौरा करेगी।
बैठक में एचईसी के भेज में मर्ज करने पर भी चर्चा हुई।
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