Air pollution after Diwali:
नई दिल्ली, एजेंसियां। दिवाली के अगले दिन देश की हवा फिर जहरीली हो गई है। राजधानी दिल्ली समेत कम से कम 16 शहरों में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) बेहद खराब से लेकर गंभीर श्रेणी में दर्ज किया गया। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के अनुसार सबसे खराब स्थिति हरियाणा के जींद में रही, जहां AQI 421 दर्ज हुआ, जबकि धारूहेड़ा में यह 412 तक पहुंच गया।
दिल्ली-एनसीआर में सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के बावजूद लोगों ने आधी रात तक जमकर पटाखे फोड़े, जिससे हवा में सूक्ष्म कणों (PM 2.5) की मात्रा खतरनाक स्तर तक पहुंच गई। सुप्रीम कोर्ट ने रात आठ से दस बजे तक केवल “ग्रीन पटाखों” की अनुमति दी थी, लेकिन आदेशों की अनदेखी से प्रदूषण का स्तर रिकॉर्ड तोड़ बढ़ गया। राजधानी में दिवाली की रात वायु गुणवत्ता चार सालों में सबसे खराब रही। PM 2.5 का घनत्व 675 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज किया गया, जो 2021 के बाद सबसे अधिक है। तुलना करें तो 2024 में यह स्तर 609, 2023 में 570, 2022 में 534 और 2021 में 728 था। मंगलवार सुबह दिल्ली का औसत AQI 351 दर्ज किया गया, जो ‘बेहद खराब’ श्रेणी में आता है।
एनसीआर के अन्य शहरों में भी स्थिति चिंताजनक रही।
गुरुग्राम में AQI 370, गाजियाबाद में 324, नोएडा में 320 और ग्रेटर नोएडा में 282 दर्ज किया गया। फरीदाबाद की हवा अपेक्षाकृत बेहतर रही, जहां सूचकांक 268 दर्ज हुआ। स्विस एजेंसी आईक्यूएयर के अनुसार, दिल्ली मंगलवार को दुनिया का सबसे प्रदूषित शहर रही। रिपोर्ट में बताया गया कि दिल्ली का AQI 442 रहा और हवा में PM 2.5 कणों की मात्रा WHO मानक से 59 गुना अधिक पाई गई। ये सूक्ष्म कण फेफड़ों में गहराई तक जाकर गंभीर बीमारियों का कारण बन सकते हैं।
आने वाले दिनों में राहत की उम्मीद नहीं
पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के अनुसार, आने वाले दिनों में भी हवा की गुणवत्ता ‘खराब’ से ‘बेहद खराब’ श्रेणी में बनी रहेगी। हर साल की तरह इस बार भी वाहनों का धुआं, खेतों में पराली जलाने और धूल के कारण प्रदूषण में बढ़ोतरी हुई है। इससे दिल्ली-एनसीआर में रहने वाले दो करोड़ से अधिक लोग प्रभावित हो रहे हैं।
उत्तर भारत के अन्य शहरों में भी गंभीर स्थिति
उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद (324), नोएडा (320) और हापुड़ (314) में हवा सबसे ज्यादा प्रदूषित रही। हरियाणा के नारनौल में AQI 390, रोहतक में 376, गुरुग्राम में 370 और बहादुरगढ़ में 368 दर्ज किया गया। राजस्थान के भिवाड़ी में 364 और गुजरात के नंदेसरी में 303 रहा।
पंजाब में पराली जलाने की घटनाएं बढ़ीं
पंजाब में पराली जलाने की घटनाओं की संख्या बढ़कर 353 तक पहुंच गई है। पिछले दस दिनों में इन मामलों में तीन गुना से अधिक वृद्धि दर्ज की गई है, जिससे दिल्ली-एनसीआर की हवा और भी ज्यादा जहरीली हो गई है।
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