सॉल्वर गिरोह ने 1 दर्जन सेंटर किए थे मैनेज
पटना, एजेंसियां। बिहार राज्य स्वास्थ्य समिति के द्वारा आयोजित सामुदायिक स्वास्थ्य पदाधिकारी (CHO) की बहाली परीक्षा में धांधली मामले की जांच आर्थिक अपराध इकाई (EOU) कर रही है।
जांच में अब बहाली परीक्षा में सेटिंग की परतें धीरे-धीरे खुलने लगी है। इस परीक्षा में धांधली कराने के लिए परीक्षा का संचालन करने वाली कंपनी ने करोड़ों में डील की थी। सॉल्वर गैंग ने कंपी को ठेकेदारों को सेट करके 1 दर्जन एग्जाम सेंटरों को मैनेज किया था।
एक दर्जन एग्जाम सेंटर थे मैनेज, करोड़ों की थी डीलः
सॉल्वर गिरोह ने परीक्षा का संचालन करने वाली कंपनी वी शाइन टेक प्राइवेट लिमिटेड के ठेकेदारों से करोड़ों की डील की थी और एक दर्जन एग्जाम सेंटर को मैनेज किया था। इओयू की जांच में ये बातें सामने आयी है।
इओयू के द्वारा दर्ज प्राथमिकी के अनुसार, सभी 12 एग्जाम सेंटर पर सॉल्वर गिरोह की सेटिंग थी। इओयू ने छापेमारी करके जिन परीक्षा केंद्रों के मालिक, सेंटर सुपरिटेंडेंट और आइटी मैनेजर आदि को गिरफ्तार किया था वो अब पूछताछ में बड़े-बड़े खुलासे कर रहे हैं।
पटना के अगमकुंआ में रची गयी थी साजिशः
आरोपितों ने पूछताछ में बताया है कि परीक्षा में धांधली की साजिश पटना के अगमकुआं थाना क्षेत्र के भगवत नगर के शांति मार्केट में एक किराये के फ्लैट में रची गयी थी। अयोध्या इंफोसोल नाम के सेंटर पर भी साजिश रची गयी थी।
इसमें कई लोगों की भूमिका थी। जिनके नाम बताए गए हैं। पुलिस ने छापेमारी करके भागवत नगर के उस फ्लैट से 4 लोगों को गिरफ्तार किया है। यहां से कई उपकरण और दस्तावेज आदि मिले हैं।
नकल के लिए अलग लीज लाइन का था इंतजामः
इओयू ने सभी 12 एग्जाम सेंटर को सील कर दिया है और जांच जारी है। जांच में पाया है कि सभी परीक्षा केंद्रों पर नकल के लिए इंटरनेट की अलग लीज लाइन का इंतजाम हुआ था।
तकनीक के जरिए चुनिंदा अभ्यर्थियों के कंप्यूटरों पर नकल करवायी जा रही थी और प्रश्नों को सॉल्व किया जा रहा था। गिरफ्तार आरोपितों में बड़ी संख्या में नालंदा गिरोह से जुड़े लोग हैं
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