4 बार इस बहस से बदले अमेरिकी चुनाव के नतीजे
वाशिंगटन डीसी, एजेंसियां। शुक्रवार को अमेरिका के 64 साल पुराने प्रेसिडेंशियल डिबेट के इतिहास को आगे बढ़ाते हुए डोनाल्ड ट्रम्प और जो बाइडेन आमने-सामने होंगे।
इस डिबेट से अब तक चार बार अमेरिकी चुनाव के नतीजे बदल चुके हैं। अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव से पहले उम्मीदवारों के बीच अहम मुद्दों पर बहस कराई जाती है।
इसके आधार पर वोटर्स उम्मीदवारों को लेकर राय बनाते हैं। इसे प्रेसिडेंशियल डिबेट कहा जाता है।
जीत-हार तय करने के 4 पैमाने
इस डिबेट से जीत-हार तय करने के 4 पैमानें हैः
मीडिया और एक्सपर्ट्स की राय :
न्यूज चैनल और पॉलिटिकल एक्सपर्ट डिबेट के बाद राय देते हैं। वे उम्मीदवारों के प्रदर्शन, जवाबों की एक्यूरेसी और बॉडी लैंग्वेज से बताते हैं कि डिबेट कौन जीता।
ओपिनियन पोल्स:
न्यूज चैनल और सर्वे एजेंसियां डिबेट के बाद ओपिनियन पोल कराती हैं, जिसमें दर्शकों की राय पूछी जाती है।
सोशल मीडिया:
सोशल मीडिया भी हार-जीत का फैसला करने में मददगार होता है। यहां पर जनता के रिएक्शन से भी पता चलता है कि किसका पलड़ा भारी रहा।
वोटिंग इंटेंशन सर्वे:
एजेंसियां वोटिंग इंटेंशन सर्वे कराती हैं। लोगों से पूछते हैं कि क्या डिबेट ने उनकी वोटिंग का फैसला बदला है। जो उम्मीदवार ज्यादा लोगों का मन बदलता है वही विजेता होता है।
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