Most polluted cities:
पटना, एजेंसियां। यह खबर शायद बिहार के लोगों को अच्छी न लगे। पर यह सच है कि देश के 10 टॉप प्रदूषित शहरों में बिहार के चार शहर शामिल हैं। बिहार में वायु प्रदूषण की स्थिति चिंताजनक स्तर पर पहुंच गई है। बेंगलुरु स्थित सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनर्जी एंड क्लीन एयर (CREA) की 2025 की पहली छमाही की ताजा रिपोर्ट के अनुसार बिहार के चार शहर—हाजीपुर, सासाराम, पटना और राजगीर—देश के 10 सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल हैं। रिपोर्ट में हाजीपुर को तीसरा सबसे प्रदूषित शहर बताया गया है, जहां पीएम 2.5 का स्तर 85 µg/m³ दर्ज किया गया। इस दौरान हाजीपुर में केवल 13 दिन वायु गुणवत्ता संतोषजनक रही, जबकि एक दिन यह गंभीर स्तर तक पहुंच गई।
डब्लूएचओ के मानक पर गंभीर स्थितिः
CREA की रिपोर्ट के अनुसार सासाराम, पटना और राजगीर में पीएम 2.5 का स्तर क्रमशः 69 µg/m³, 68 µg/m³ और 65 µg/m³ रहा, जो भारतीय मानक (40 µg/m³) से कहीं अधिक है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मानक (5 µg/m³) के अनुसार तो स्थिति और भी गंभीर है। डेटा केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) की वेबसाइट से लिया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि 2025 की पहली छमाही में देश के 122 शहर भारतीय मानकों के अनुसार प्रदूषित रहे, जबकि डब्ल्यूएचओ के मानकों के हिसाब से 239 शहरों की वायु गुणवत्ता खराब थी।
ब्यर्नीहाट देश का सबसे प्रदूषित शहरः
असम-मेघालय सीमा पर स्थित ब्यर्नीहाट देश का सबसे प्रदूषित शहर रहा, जबकि दिल्ली दूसरे स्थान पर है।
बिहार प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने रिपोर्ट को बताया फर्जीः
हालांकि, बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (BSPCB) ने CREA की इस रिपोर्ट को खारिज कर दिया है। बोर्ड के एक अधिकारी ने इसे निजी एजेंसी की गलत और फर्जी रिपोर्ट करार देते हुए कहा कि बिहार में वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए कई कदम उठाए जा रहे हैं। इनमें निर्माण कार्यों में ग्रीन कवर का उपयोग, सीएनजी और इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देना और फसल अवशेष जलाने पर रोक जैसे उपाय शामिल हैं।
हाजीपुर में पीएम 2.5 मुख्य प्रदूषकः
रिपोर्ट में बताया गया कि हाजीपुर में वायु प्रदूषण का मुख्य स्रोत पीएम 2.5 है, जो फेफड़ों और रक्तप्रवाह में प्रवेश कर स्वास्थ्य के लिए गंभीर खतरा पैदा करता है। बिहार के 18 शहरों में वायु गुणवत्ता संतोषजनक रही, जबकि छह शहरों में मध्यम स्तर की थी। विशेषज्ञों का कहना है कि वायु प्रदूषण को कम करने के लिए और सख्त कदम उठाने की जरूरत है, ताकि बिहार के लोगों को स्वच्छ हवा मिल सके।
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