दुनिया का पहला एटीएम: कैसे हुआ था इसका अविष्कार? जानिए पूरी कहानी [World’s first ATM: How was it invented? Know the whole story]

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World’s first ATM:

नई दिल्ली, एजेंसियां। एटीएम (ATM) आज हमारी जिंदगी का अहम हिस्सा बन चुका है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि यह दुनिया का पहला एटीएम आज से ठीक 58 साल पहले, 27 जून 1967 को लंदन के बारक्लेज बैंक में स्थापित किया गया था? आइए, जानते हैं इसके अविष्कार का रोमांचक और दिलचस्प इतिहास।

World’s first ATM:दुनिया का पहला एटीएम

27 जून 1967 को लंदन के एन्फील्ड इलाके में बारक्लेज बैंक की शाखा के बाहर दुनिया का पहला एटीएम स्थापित किया गया था। इस एटीएम से पैसे निकालने का पहला अनुभव ब्रिटिश अभिनेता रेग वर्णय को हुआ था, और यह घटना पूरी दुनिया के लिए चौंकाने वाली थी। आज एटीएम हर किसी की जिंदगी का हिस्सा बन चुका है, लेकिन उस समय यह एक क्रांतिकारी अविष्कार था।

World’s first ATM:कैसे आया एटीएम का आइडिया?

इस क्रांतिकारी मशीन के अविष्कारक जॉन शेफर्ड-बैरोन थे। कहा जाता है कि शेफर्ड-बैरोन ने इस आइडिया को तब सोचा जब वे खुद लंबे समय तक बैंक की कतारों में खड़े रहते थे। कई बार शनिवार को बैंक बंद रहने की वजह से उन्हें पैसे नहीं मिल पाते थे, जिससे उनकी परेशानी बढ़ जाती थी। एक दिन, जब वे नहाने जा रहे थे, उन्हें ख्याल आया कि जैसे चॉकलेट वेंडिंग मशीन से चॉकलेट निकलती है, वैसे ही एक ऐसी मशीन बनाई जा सकती है जो पैसे निकाल सके। इस विचार ने उन्हें एटीएम का अविष्कार करने की प्रेरणा दी।

World’s first ATM:भारत में कब आया पहला एटीएम?

भारत में पहला एटीएम 1987 में स्थापित किया गया था। यह एटीएम मुंबई में हांगकांग और शंघाई बैंक कॉरपोरेशन (HSBC) द्वारा स्थापित किया गया था। बाद में, भारत में एटीएम की संख्या में तेजी से वृद्धि हुई और 2020 तक 2,34,244 एटीएम मशीनें भारत में स्थापित हो चुकी थीं।

World’s first ATM:एटीएम के पिन को लेकर मजेदार बात

जॉन शेफर्ड-बैरोन ने शुरुआत में एटीएम के पिन को 6 अंकों का रखा था, लेकिन उनकी पत्नी को इसे याद रखने में कठिनाई होती थी। इसके बाद, उन्होंने इसे बदलकर 4 अंकों का पिन कर दिया, जो आज हम सभी इस्तेमाल करते हैं।

World’s first ATM:बारक्लेज बैंक का सोने का एटीएम

दुनिया का पहला एटीएम 50 साल पुराना हो गया था, तो इस मौके पर 2017 में बारक्लेज बैंक ने उसे सोने का बना दिया, ताकि इसके इतिहास को और महत्वपूर्ण बनाया जा सके। दुनिया भर में एटीएम के इस सफर की शुरुआत आज से ठीक 58 साल पहले हुई थी, और अब यह तकनीक हमारी दिनचर्या का अहम हिस्सा बन चुकी है।

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